भगवान बुद्ध बौद्ध धर्म के संस्थापक थे और उन्हें भगवान विष्णु का 9वां अवतार भी माना जाता है। हिंदू कैलेंडर के अनुसार भगवान गौतम बुद्ध की जयंती वैशाख माह की पूर्णिमा तिथि को मनाई जाती है। कहा जाता है कि इस दिन भगवान बुद्ध को ज्ञान की प्राप्ति हुई थी। इस बार गौतम बुद्ध जयंती आज यानि 16 मई दिन सोमवार को मनाई जा रही है। भगवान गौतम बुद्ध को ना सिर्फ बौद्ध धर्म के बल्कि हिंदू धर्म के अनुयायी भी मानते हैं। बुद्ध पूर्णिमा न केवल बौद्ध धर्म में आस्था रखने वालों के लिए, बल्कि हिंदू धर्मावलंबियों के लिए भी बहुत मायने रखती है. पौराणिक मान्यताओं के अनुसार माना जाता है कि गौतम बुद्ध भगवान विष्णु के नौवें अवतार हैं। इसी वजह से सनातन धर्म के लोगों के लिए भी बुद्ध पूर्णिमा बेहद पवित्र मानी जाती है। भारत में ही नहीं बल्कि विदेश में भी सैकड़ों सालों से बुद्ध पूर्णिमा का पर्व मनाया जा रहा है। बुद्ध पूर्णिमा को 20वीं सदी से पहले आधिकारिक बौद्ध अवकाश का दर्ज़ा प्राप्त नहीं था। सन् 1950 में बौद्ध धर्म पर चर्चा करने के लिए श्रीलंका में विश्व बौद्ध सभा का आयोजन किया गया। जिसके बाद इस सभा में बुद्ध पूर्णिमा पर आधिकारिक अवकाश करने का फैसला हुआ। बुद्ध पूर्णिमा पर्व भगवान बुद्ध के जन्मदिन के सम्मान में मनाया जाता है। भारत में मानवता और मनोरंजन की अलग-अलग गतिविधियों के माध्यम से बुद्ध पूर्णिमा का उत्सव मनाया जाता है। क्यों है यह दिन खास - पौराणिक मान्यताओं के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि भगवान बुद्ध को वैशाख पूर्णिमा के दिन ही बोधगया में बोधि वृक्ष के नीचे ज्ञान यानी बुद्धत्व की प्राप्ति हुई थी। वैशाख पूर्णिमा के दिन ही गौतम बुद्ध ने कुशीनगर में अपना शरीर छोड़ा था। यही वजह है कि इस दिन को बुद्ध जयंती और महानिर्वाण दिवस के तौर पर मनाया जाता है। बुद्ध पूर्णिमा को सिद्ध विनायक पूर्णिमा या सत्य विनायक पूर्णिमा के नाम से भी जाना जाता है।
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