माघ महीने में खास मानी जाने वाली मौनी अमावस्या 11 फरवरी को है। इसके अगले ही दिन यानी कि 12 फरवरी से माघ महीने की गुप्त नवरात्र रहेगी। खास बात यह है कि फरवरी में शुक्ल पक्ष का पखवाड़ा 15 की बजाए 16 दिन का जबकि गुप्त नवरात्र इस बार 9 की बजाय दस दिन के होंगे।
पंडितों के अनुसार शुक्ल पक्ष व गुप्त नवरात्र में एक-एक दिन अधिक होना शुभ संयोग है, जो मंगलकारी रहेगा। इन योगों में की गई पूजा, दान-पुण्य और खरीद-फरोख्त विशेष फलदायी व समृद्धिकारक रहेगी। माघी अमावस्या को मौनी अमावस्या भी कहा जाता है। इस दिन ऋषियों और पितरों के निमित्त की गई पूजा, जलार्पण व दान करने के लिए खास माना जाता है।
12 फरवरी से मंदिरों में विशेष आराधना
माघ महीने में होने वाली गुप्त नवरात्र 12 से 21 फरवरी तक रहेगी। इस नवरात्र में देवी मंदिरों में विशेष पूजा-अर्चना की जाएगी। मां दुर्गा के कई भक्त नौ दिन उपवास रखकर सप्तशती व चालीसा आदि का पाठ कर विभिन्न प्रकार की साधनाएं करेंगे। यह नवरात्र शक्ति की पूजा के लिए खास मानी जाती है। पंडितों के अनुसार वर्ष में चार नवरात्र होती है। इनमें शारदीय व चैत्र नवरात्र प्रकट और माघ व आषाढ़ में होने वाली नवरात्र को गुप्त नवरात्र कहा जाता है। इस माह शुक्ल पक्ष 12 से 27 फरवरी तक 16 दिन का रहेगा। इस कारण गुप्त नवरात्र भी दस दिन के होंगे, जिनमें की गई पूजा, आराधना विशेष फलदायक रहेगी।