जल्द ही बाबा अमरनाथ ही यात्रा शुरु होने वाली है। कोरोना महामारी के चलते पूरे दो साल के बाद अब अमरनाथ यात्रा को फिर से शुरु किया जा रहा है। यात्रियों की सहूलियत को ध्यान में रखते हुए इस साल श्रीनगर से पंचतरणी तक सीधी हेलीकॉप्टर सेवा शुरु करने का फैसला लिया गया है। अमरनाथ मंदिर जम्मू-कश्मीर स्थित हिंदुओं का प्रमुख तीर्थस्थल है। यहां हर साल लाखों भक्त भगवान शिव के दर्शन के लिए आते हैं। इस साल अमरनाथ की यात्रा 30 जून से शुरु होगी जो 11 अगस्त को समाप्त होगी। बता रहे हैं कि अब अमरनाथ की यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्री सीधे श्रीनगर से अमरनाथ तक की यात्रा हेलीकॉप्टर से कर सकेंगे। भीड़ कम करने का लिया फैसला शीर्ष अधिकारिक सूत्रों ने एएनआई को बताया कि गृह मंत्रालय ने जम्मू-कश्मीर प्रशासन को तीर्थयात्रियों के लिए हेलीकॉप्टर सेवा सीधे श्रीनगर से पंचतरणी तक, पहलगाम और बालटाल से पंचतरणी तक मिलती है, जहां से 6 किलोमीटर की दूरी पर पवित्र गुफा है। हर साल बाबा अमरनाथ के दर्शन के लिए लाखों श्रद्धालु आते हैं। अभी तक अमरनाथ जाने के लिए हेलीकॉप्टर सेवा बालटाल और पहलगाम से उपलब्ध थी। बालटाल और पहलगाम दोनों ही रास्ते अमरनाथ शुरु होने जा रही है अमरनाथ यात्रा, अब श्रीनगर से पंचतरणी तक मिलेगी हेलीकॉप्टर सेवा जल्द ही बाबा अमरनाथ ही यात्रा शुरु होने वाली है। कोरोना महामारी के चलते पूरे दो साल के बाद अब अमरनाथ यात्रा को फिर से शुरु किया जा रहा है। यात्रियों की सहूलियत को ध्यान में रखते हुए इस साल श्रीनगर से पंचतरणी तक सीधी हेलीकॉप्टर सेवा शुरु करने का फैसला लिया गया है। अमरनाथ मंदिर जम्मू-कश्मीर स्थित हिंदुओं का प्रमुख तीर्थस्थल है। यहां हर साल लाखों भक्त भगवान शिव के दर्शन के लिए आते हैं। इस साल अमरनाथ की यात्रा 30 जून से शुरु होगी जो 11 अगस्त को समाप्त होगी। बता रहे हैं कि अब अमरनाथ की यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्री सीधे श्रीनगर से अमरनाथ तक की यात्रा हेलीकॉप्टर से कर सकेंगे। भीड़ कम करने का लिया फैसला शीर्ष अधिकारिक सूत्रों ने एएनआई को बताया कि गृह मंत्रालय ने जम्मू-कश्मीर प्रशासन को तीर्थयात्रियों के लिए हेलीकॉप्टर सेवा सीधे श्रीनगर से पंचतरणी तक, पहलगाम और बालटाल से पंचतरणी तक मिलती है, जहां से 6 किलोमीटर की दूरी पर पवित्र गुफा है। हर साल बाबा अमरनाथ के दर्शन के लिए लाखों श्रद्धालु आते हैं। अभी तक अमरनाथ जाने के लिए हेलीकॉप्टर सेवा बालटाल और पहलगाम से उपलब्ध थी। बालटाल और पहलगाम दोनों ही रास्ते अमरनाथ मंदिर से 61 किलोमीटर की दूरी पर हैं। बालटाल से पवित्र गुफा तक पहुंचने की दूरी 15 किलोमीटर है जिसके लिए तीर्थयात्री पैदल, हेलीकॉप्टर या खच्चर से यात्रा कर सकते हैं। अमरनाथ मंदिर पहुंचने का लंबा रूट पहलगाम है। पहलगाम से अमरनाथ मंदिर तक की दूरी 46 किलोमीटर है। जिसके लिए तीर्थयात्री पैदल, खच्चर या हेलीकॉप्टर के जरिए पहुंच सकते हैं। दो साल बाद फिर से शुरु हुई अमरनाथ यात्रा इस साल श्रीनगर के हवाई अड्डे के पास बडगाम से पंचतरणी तक एक नया रास्ता जुड़ जाएगा। अधिकारियों ने कहा कि दो साल के अंतराल के बाद अमरनाथ यात्रा शुरु होने जा रही है। इसलिए तीर्थयात्रियों की भारी भीड़ की उम्मीद करते हुए, केंद्र सरकार ने श्रीनगर से हेलीकॉप्टर की सेवा शुरु करने का फैसला लिया है। इसके साथ ही यात्रा के दौरान तीर्थ यात्रियों की सुरक्षा के लिए पहलगाम और बालटाल के दोनों ही रास्तों में 50 से ज्यादा ड्रोन्स का इस्तेमाल किया जाएगा। मंदिर से 61 किलोमीटर की दूरी पर हैं। बालटाल से पवित्र गुफा तक पहुंचने की दूरी 15 किलोमीटर है जिसके लिए तीर्थयात्री पैदल, हेलीकॉप्टर या खच्चर से यात्रा कर सकते हैं। अमरनाथ मंदिर पहुंचने का लंबा रूट पहलगाम है। पहलगाम से अमरनाथ मंदिर तक की दूरी 46 किलोमीटर है। जिसके लिए तीर्थयात्री पैदल, खच्चर या हेलीकॉप्टर के जरिए पहुंच सकते हैं। दो साल बाद फिर से शुरु हुई अमरनाथ यात्रा इस साल श्रीनगर के हवाई अड्डे के पास बडगाम से पंचतरणी तक एक नया रास्ता जुड़ जाएगा। अधिकारियों ने कहा कि दो साल के अंतराल के बाद अमरनाथ यात्रा शुरु होने जा रही है। इसलिए तीर्थयात्रियों की भारी भीड़ की उम्मीद करते हुए, केंद्र सरकार ने श्रीनगर से हेलीकॉप्टर की सेवा शुरु करने का फैसला लिया है। इसके साथ ही यात्रा के दौरान तीर्थ यात्रियों की सुरक्षा के लिए पहलगाम और बालटाल के दोनों ही रास्तों में 50 से ज्यादा ड्रोन्स का इस्तेमाल किया जाएगा।
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