इंदौर: पूरे देश में तीन दिनों के बाद रक्षाबंधन का त्योहार मनाया जाएगा। इंदौर के खजराना गणेश की राखी ख़ास तरीक़े से बनकर तैयार है। हर साल रक्षाबंधन के मौक़े पर यहाँ राखी बनाने की परम्परा है। यह सिलसिला पिछले 19 साल से चला आ रहा है। बताया जाता है कि 38 सालों से शहर के नामचीन मंदिरों में राखी अर्पित करने का सिलसिला चला आ रहा है और गणेश जी के मंदिर में यह 20वां साल है। इस वर्ष राखी की थीम आज़ादी के अमृत महोत्सव, सनातन धर्म और तीर्थ स्थलों के झांकी के रूप में दिखाई जाएगी। बताया जा रहा है कि राखी की साइज इस बार 40x40 इंच है। यह राखी 3 महीने में 25 परिवारों व अन्य लोग की मेहनत से तैयार किया गया है और राखी में इस्तेमाल किए जाने वाले सामान को दिल्ली, महाराष्ट्र, गुजरात, कोलकाता और राजस्थान से मंगवाया गया था। राखी में सबसे ऊपर की ओर अयोध्या के श्रीराम मंदिर तो बीच में त्रिदेव ब्रह्मा, विष्णु और महेश नज़र आएंगे। इस राखी में काशी विश्वनाथ और महाकाल मंदिर की प्रतिकृति बनाई गई है। निचले भाग की बात करें तो बाबा अमरनाथ के दर्शन होंगे जिसमें कबूतर का जोड़ा भी दिखाया गया है। इस राखी में नव दुर्गा, भगवान गणेश के आठ नामों को दिखाने की कोशिश की गई है। ऊपर की ओर भारत का झंडा यानी तिरंगा भी दिखाया गया है। इसके साथ इस राखी पर ॐ नमः शिवाय और जय श्रीराम की भक्ति भी लिखा गया है। इस राखी को रक्षाबंधन के दिन सुबह 7 बजे खजराना गणेश जी को अर्पित कर दिया जाएगा।
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